
गाजीपुर (चन्दन शर्मा): जनपद गाज़ीपुर के मोहम्मदाबाद तहसील अंतर्गत सलेमपुर-स्टेशन रोड पर स्थित प्राचीन काली मंदिर पर अवैध अतिक्रमण किया गया है। यह अतिक्रमण योगी सरकार के प्रथम कार्यकाल के ही हैं जो योगिराज 2.0 में भी कायम हैं।
अब पढ़िए खबर विस्तार से
गाज़ीपुर जनपद के मोहम्मदाबाद तहसील अंतर्गत सलेमपुर मोड़ से स्टेशन के सड़क पर सैकड़ों वर्ष पुराना मां काली का मंदिर है। इस मन्दिर पर प्रत्येक महीने के 27 तारीख को भव्य भंडारा का योजन किया जाता है। इस तारीख को बड़ी संख्या में श्रद्धालु पूजा-पाठ, भजन-कीर्तन, प्रसाद वितरण और भंडारे में शामिल होते हैं। इसके अलावा भी रोज इस मंदिर पर सैकड़ों लोग पूजन-अर्चन करते हैं। लेकिन इस मंदिर पर अतिक्रमण कर लिया गया है।
यह अतिक्रमण हाल ही का नहीं है यह अतिक्रमण योगी सरकार के प्रथम कार्यकाल के है। सबसे बड़ी बात यह रही कि उस वक़्त यहां की विधायक पूर्व विधायक कृष्णा नंद राय की पत्नी अलका राय रही हैं। जो 2022 के चुनाव में अपने पुराने प्रतिद्वंदी व पूर्व विधायक सिबगतुल्लाह अंसारी के बेटे सुहैब उर्फ मन्नू अंसारी से हार गईं।
इस मामले में वर्तमान विधायक अलका राय से जब संपर्क किया गया तो उन्होंने 05 जनवरी 2021 को अपने लैटर पैड पर स्वयं मुहर व हस्ताक्षर करके एसडीएम मोहम्मदाबाद को काली मां के नाम से जमीन दर्ज करने का और अतिक्रमण हटाने का अनुरोध किया। हालांकि इस मामले में कुछ खास प्रगति नहीं हुई और अतिक्रमण जस का तस ही रह गया। आपको यह भी बता दें कि भूमि प्रबंफक समिति हाटा ने 04 जुलाई 2019 को बैठक कर उक्त भूमि काली मां के मंदिर पर करने की सहमति पारित कर चुकी थी।
तत्पश्चात पुनः जिलाधिकारी गाज़ीपुर को 26 मार्च 2022 को विधायक अलका राय के लेटर की छायाप्रति एवं राजस्व विभाग की स्वीकृति पत्र को अटैच करते हुए पुनः एक नया ज्ञापन दिया गया। ज्ञापन देने के बाद 17 मई 2021 को लेखपाल ने जनसुनवाई पर दायर शिकायत के उत्तर में अपनी जांच रिपोर्ट में अतिक्रमण न होने की रिपोर्ट लगा दी।
जिसके बाद सोमवार को समाजसेवी मीरा राय ने डीएम मंगला प्रसाद सिंह से मिलकर शिकायती पत्र दिया है और प्राचीन काली मां मंदिर के अतिक्रमण को हटाने की मांग की है। बता दें कि यह जमीन हाटा ग्राम अंतर्गत नवीन परती के नाम से है।
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