रिलायंस फाउंडेशन ने बकरी पालन में किसान को दिलवाई सही समय में उचित सहायता

गाज़ीपुर: मोहन कुशवाहा, उम्र 61 वर्ष, निवासी ग्राम दुर्गास्थान, पोस्ट महरौर, तहसील कासिमाबाद, जिला गाजीपुर, ने रिलायंस फाउंडेशन की सहायता द्वारा तकनीकी माध्यम से बकरी पशुपालन में लाभ प्राप्त किया।
उन्होंने बताया कि वह एक साधारण किसान हैं। उनकी आय का मुख्य स्रोत खेती और पशुपालन है और यही उनके परिवार की आजीविका का एक मात्र साधन है। वह बताते हैं कि उनको बकरी पालन से अच्छा लाभ हो जाता था और बकरी खरीदने में लागत भी कम लगती थी । वह बकरियों को बेचकर अच्छा लाभ कमा लेते थे।
मोहन ने बताया कि उनके पास चार बकरियाँ थीं। उनमें से दो बकरियों का पेशाब रुक-रुक कर हो रहा था और पूरा पेशाब भी नहीं हो पाता था। इस कारण बकरियाँ ठीक से चारा नहीं खाती थीं और वह दिन पे दिन कमजोर भी हो रहीं थीं। उनको इस कारण बकरियों का उचित दाम नहीं मिल पा रहा था। उन्होंने कुछ घरेलू उपचार किये लेकिन उससे उनको कोई फायदा नहीं हुआ।
इसी बीच उनको रिलायंस फ़ाउंडेशन के जियोचैट कार्यक्रम के बारे में जानकारी मिली। उन्होंने अपने गाँव में दिनांक 16 अक्टूबर 2019 को इस कार्यक्रम में भाग लिया और जियोचैट कार्यक्रम के माध्यम से पशुपालन चिकित्सक डॉ कृपाशंकर सिंह से अपनी बकरियों की समस्या के समाधान के बारे में बात की।
डॉ कृपाशंकर ने उनको लैसिक्स और सिस्टोन नामक दवा की पाँच- पाँच गोलियां बकरियों को सुबह व शाम देने की सलाह दी। उन्होंने दोनों दवाओं को बाज़ार से लाकर अपनी बीमार बकरियों को खिलाया जिससे बकरियों के पेशाब रुकने की समस्या दूर हो गयी। पहले उनको दोनों बकरियों को बेचने में समस्या आ रही थी और उन बकरियों का मात्र 8000 रुपये दाम ही मिल रहा था जो कि बहुत कम था।
इस समस्या के समाधान के उपरांत उनकी दोनों स्वस्थ बकरियाँ 12000 रुपए में बिक गयीं। इस तरह से उनको रिलायंस फ़ाउंडेशन के कार्यक्रम में बताए गए सुझाव का पालन करने से 4000 रुपए का अतिरिक्त लाभ प्राप्त हुआ।उन्होंने रिलायंस फ़ाउंडेशन को बहुत-बहुत धन्यवाद दिया जिसके कार्यक्रम के फलस्वरूप उनको बकरियों का इतना अच्छा मूल्य प्राप्त हो सका।
अब उनको रिलायंस फ़ाउंडेशन के टोल फ्री हेल्पलाइन नंबर 1800-419-8800 का भी साथ मिल गया है जिसके माध्यम से वह अपनी कृषि और पशुपालन से संबन्धित समस्याओं का समाधान समय से कर पाते हैं।